Friday, January 22, 2016

धन लक्ष्मी साधना एवं प्राप्ति के उपाय -






लक्ष्मी प्राप्ति के सरल प्रयोग :-
भगवती लक्ष्मी कि श्री नाम से सम्बोधित किया जाता है। यह धनदायक संकेत है। दीपावली के दिन रक्त वस्त्र पर पीले पुष्प के आसन पर श्री चक्र स्थापित कर पूजन करे। फिर निम्न मंत्र का 51 बार जाप करे।
मंत्र है - ।। ॐ ह्रीं श्री ह्रीं नम:।।
यह प्रयोग दीपावली के दिन प्रात : सांय एवं मध्यरात्रि में करे। अर्द्ध रात्रि में श्री चक्र को वस्त्र में बांधकर तिजोरी में रख दे , ग्यारह दिन के बाद इसे नदी में बहा दे। आकस्मिक धन कि प्राप्ति होगी।
हल्ट हकीक का पूजन कर दीपावली के दिन धारण करने से मानसिक तनाव ख़त्म हो जाता है। सवा मॉस के बाद इसे नदी में बहा दे।
विद्या प्राप्ति के मंत्र :-
साधक दीपावली के दिन पेन्सिल , जिससे बच्चा लिखता हो , को श्वेत वस्त्र में बांधकर निम्न मंत्र का 21 बार जाप करे मंत्र हैं - ।। ॐ ऍ क्री ऍ ॐ ।। इसके बाद किसी भी गुरूवार से प्रारम्भ कर अगले गुरूवार तक नित्य उसी पेन्सिल से उक्त मंत्र को बच्चे द्वारा तीन बार लिखाए। पेंसिल को सुरक्षित रखे।
धन का आगमन :-
किसी पात्र में कुंकुम से अष्टदल कमल का निर्माण कर प्रमोदा को स्थापित कर उस पर कमल के पांच पुष्प चढ़ाए। घी का दीपक कर निम्न मंत्र का जाप करे।
।। ॐ श्री श्री महाधनं देहि ॐ नम: ।।
यह प्रयोग सांत दिन तक करे , सातवे दिन प्रमोदा को जल में प्रवाहित कर दे।
कमल के बीज ( कमलगट्टा ) से निम्न मंत्र का जाप करते हुए घी के साथ 101 आहुतिया देने से साधक की सभी मनोकामनाए पूर्ण होती है।
।। ॐ क्ली चामुंडे मनोवांछित कुरु कुरु फट ।।
सम्मोहन मंत्र :-
कमलगट्टे कि माला से दक्षिण दिशा कि ओर मुँह करके , अष्टगंध का तिलक लगाकर इस मंत्र का जाप करने से साधक में सम्मोहन शक्ति आ जाती है। यह प्रयोग पांच दिन तक करे।
मंत्र है -
।। ॐ सं सर्व सम्मोहनाय फट ।।
पांच दिन बाद माला नदी में प्रवाहित कर दे।
शत्रुशमन मंत्र :-
चार अंगुल की नीम की लड़की लेकर उससे शत्रु का नाम किसी कागज पर लिखे , उस कागज पर लकड़ी रख दे तथा उस पर ही तेल का दीपक रख दे। 'शत्रु स्तम्भन माला ' से निम्न मंत्र की ग्यारह माला फेरे।
मंत्र है -
।। ॐ की क्ली शत्रुशमन क्ली क्री फट ।।
यह प्रयोग तीन दिन तक करे , दीपक को न बदले , अपितु उसमे ही तेल डालकर जला दे। यह अत्यंत तीव्र प्रयोग है। शत्रु कितना भी शक्तिशाली हो, शांत हो जायेगा। तीसरे दिन अग्नि प्रज्वलित कर माला को तोड़कर प्रत्येक मनके को घी में डुबोते हुए मंत्र से आहुति करे। अंतिम आहुति में कागज व लकड़ी को भी डाल दे।
अनवरत: धन प्राप्ति मंत्र :-
निम्न मंत्र को अष्टगंध से सफ़ेद वस्त्र पर लिखे। उस वस्त्र पर बांया हाथ रखकर साधक दांये हाथ से लक्ष्मी माला से एक माला फेरे। साथ दिन तक प्रयोग करे। सातवे दिन वस्त्र को धन रखने के स्थान पर रख दे तथा माला को नदी में प्रवाहित कर दे। अनवरत धन प्राप्ति का स्त्रोत प्राप्त होगा।
मंत्र है -
।। ॐ ह्रीं अक्षय धनभादाय फट ।।
कामना प्राप्ति मंत्र :-
किसी कागज पर लाल चन्दन से गणपति बनाकर उस पर लक्ष्मीयंत्र रखकर लाल पुष्प चढ़ावे। तेल दीपक एवं अगरबत्ती लगाकर निम्न मंत्र का 65 बार जप करे
मंत्र है -
।। ॐ ह्रीं विचित्रे काम पूरय ॐ ।।
यह प्रयोग पांच दिन का है । पांचवे दिन यन्त्र को उसी कागज में लाल धागे से बांधकर नदी में प्रवाहित कर दे। व्यक्ति कि कामना पूर्ण होती है।
विवाह बाधा निवारण मंत्र :-
वट वृक्ष के पांच पत्ते लेकर उनको एक के ऊपर एक रख दे , उस पर 'शक्ति खड्ग ' को स्थापित कर लाल कणेर के पुष्प चढ़ाते हुए निम्न मंत्र का 21 बार जप करे। साधक या साधिका में आ रही बाधा दूर होगी।
मंत्र है -
।। ॐ ऐ अभीष्ट सिद्धि विवाह बाधा निवारणाय फट ।।
बाधा निवारण मंत्र :-
किसी पत्र में जल लेकर उसको देखते हुए निम्न मंत्र का 21 बार जप कर उस जल को पुरे घर में छिड़क देवे। यह प्रयोग नित्य करने से घर में आयी छोटी - मोटी बाधाए समाप्त होगी एवं वातावरण सुखमय रहेगा।
मंत्र है -
।। ॐ ख़े खौ बाधा निवारणाय फट ।।
राजगुरु जी
महाविद्या आश्रम
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