Tuesday, December 22, 2015



पति या प्रेमी को वश में करने का टोटका





अगर पति या प्रेमी का पत्नी या प्रेमिका के प्रति प्यार कम हो गया हो तो श्री कृष्ण का स्मरण कर तीन इलायची अपने बदन से स्पर्श करती हुई शुक्रवार के दिन छुपा कर रखें। जैसे अगर साड़ी पहनतीं हैं तो अपने पल्लू में बांध कर उसे रखा जा सकता है और अन्य लिबास पहनती हैं तो रूमाल में रखा जा सकता है।
शनिवार की सुबह वह इलायची पीस कर किसी भी व्यंजन में मिलाकर पति या प्रेमी को खिला दें। मात्र तीन शुक्रवार में स्पष्ट फर्क नजर आएगा।
पति की रूचि पत्नी में कम हो गयी हो तो दोनों साथ भोजन करें और भोजन के समय चुपके से पत्नी पति के खाने में अपनी थाली से थोड़ा भोजन रख दे। इससे पति फिर से पत्नी में रूचि लेने लगता है।
पति-पत्नी के रिश्तों में प्रेम के लिए करें यह काम
ज्योतिषशास्त्र में कुण्डली के सातवें घर को विवाह एवं वैवाहिक सुख का स्थान माना गया है। जिनकी कुण्डली में इस घर में राहु होता है उनके वैवाहिक जीवन में कठिनाई आने की संभावना रहती है।
ऐसे व्यक्तियों को 40 दिनों तक बादाम या नारियल बहते पानी में प्रवाहित करना चाहिए। इससे पति-पत्नी के रिश्तों में प्रेम और तालमेल बना रहता है।
जिन स्त्रियों के पति किसी अन्य स्त्री के मोहजाल में फंस गये हों या आपस में प्रेम नहीं रखते हों, लड़ाई-झगड़ा करते हों तो इस टोटके द्वारा पति को अनुकूल बनाया जा सकता है।
गुरुवार अथवा शुक्रवार की रात्रि में या पीरियड के समय में रात्रि १२ बजे पति की चोटी (शिखा) के कुछ बाल काट लें और उसे किसी ऐसे स्थान पर रख दें जहां आपके पति की नजर न पड़े। ऐसा करने से आपके पति की बुद्धि का सुधार होगा और वह आपकी बात मानने लगेंगे। कुछ दिन बाद इन बालों को जलाकर अपने पैरों से कुचलकर बाहर फेंक दें। मासिक धर्म के समय करने से अधिक कारगर सिद्ध होगा।
होली जलते समय तीन अभिमंत्रित गोमती चक्र लेकर उस महिला का नाम लेकर थोडा सिन्दूर लगाकर होली की अग्नि में फैंक दें|पति का उस महिला से पीछा छूट जायेगा|
जब आपको लगे की आपके पति किसी महिला के पास से आरहें हैं तो आप किसी भी बहाने से अपने पति का आंतरिक वस्त्र लेकर उसमे आग लगा दें और राख को किसी चौराहे पर फैंक कर पैरों से रगड़ कर वापिस आजाएं.
शुक्ल पक्ष के रविवार को ५ लौंग शरीर में ऐसे स्थान पर रखें जहां पसीना आता हो व इसे सुखाकर चूर्ण बनाकर दूध, चाय में डालकर जिस किसी को पिला दी जाए तो वह वश में हो जाता है।
सवा पाव मेहंदी के तीन पैकेट (लगभग सौ ग्राम प्रति पैकेट) बनाएं और तीनों पैकेट लेकर काली मंदिर या शस्त्र धारण किए हुए किसी देवी की मूर्ति वाले मंदिर में जाएं। वहां दक्षिणा, पत्र, पुष्प, फल, मिठाई, सिंदूर तथा वस्त्र के साथ मेहंदी के उक्त तीनों पैकेट चढ़ा दें। फिर भगवती से कष्ट निवारण की प्रार्थना करें और एक फल तथा मेहंदी के दो पैकेट वापस लेकर कुछ धन के साथ किसी भिखारिन या अपने घर के आसपास सफाई करने वाली को दें। फिर उससे मेहंदी का एक पैकेट वापस ले लें और उसे घोलकर पीड़ित महिला के हाथों एवं पैरों में लगा दें। पीड़िता की पीड़ा मेहंदी के रंग उतरने के साथ-साथ धीरे-धीरे समाप्त हो जाएगी।
यदि चाहते हुए वैवाहिक सुख नहीं मिल पा रहा है, हमेशा पति-पत्नि में किसी बात को लेकर अनबन रहती हो तो किसी भी शुक्रवार के दिन यह उपाय करें। मिट्टी का पात्र ले जिसमें सवा किलो मशरूम आ जाएं। मशरूम डालकर अपने सामने रख दें। पति-पत्नि दोनों ही महामृत्युंजय मंत्र की तीन माला जाप करें। तत्पश्चात इस पात्र को मां भगवती के श्री चरणों में चुपचाप रखकर आ जाए। ऐसा करने से मां भगवती की कृपा से आपका दांपत्य जीवन सदा सुखी रहेगा।
यह प्रयोग शुक्ल में पक्ष करना चाहिए ! एक पान का पत्ता लें ! उस पर चंदन और केसर का पाऊडर मिला कर रखें ! फिर दुर्गा माता जी की फोटो के सामने बैठ कर दुर्गा स्तुति में से चँडी स्त्रोत का पाठ 43 दिन तक करें ! पाठ करने के बाद चंदन और केसर जो पान के पत्ते पर रखा था, का तिलक अपने माथे पर लगायें ! और फिर तिलक लगा कर पति के सामने जांय ! यदि पति वहां पर न हों तो उनकी फोटो के सामने जांय ! पान का पता रोज़ नया लें जो कि साबुत हो कहीं से कटा फटा न हो ! रोज़ प्रयोग किए गए पान के पत्ते को अलग किसी स्थान पर रखें ! 43 दिन के बाद उन पान के पत्तों को जल प्रवाह कर दें ! शीघ्र समस्या का समाधान होगा !
झाड़ू की दो सींको को उल्टा – सीधा रखकर नीले धागे से बांधकर घर के दक्षिण – पश्चिम में रखने से दाम्पत्य प्रेम बढ़ेगा |
अगर आपके पति किसी अन्य स्त्री पर आसक्त हैं और आप से लड़ाई-झगड़ा इत्यादि करते हैं। तो यह प्रयोग आपके लिए बहुत कारगर है, प्रत्येक रविवार को अपने घर तथा शयनकक्ष में गूगल की धूनी दें। धूनी करने से पहले उस स्त्री का नाम लें और यह कामना करें कि आपके पति उसके चक्कर से शीघ्र ही छूट जाएं। श्रद्धा-विश्वास के साथ करने से निश्चिय ही आपको लाभ मिलेगा।
सिन्दूर लगे हनुमान जी की मूर्ति का सिन्दूर लेकर सीता जी के चरणों में लगाएँ। फिर माता सीता से एक श्वास में अपनी कामना निवेदित कर भक्ति पूर्वक प्रणाम कर वापस आ जाएँ। इस प्रकार कुछ दिन करने पर सभी प्रकार की बाधाओं का निवारण होता है
आप सभी को मेरी शुभकामनाएं साधना करें साधनामय बनें......
राजगुरु जी
महाविद्या आश्रम
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