पित्रों की शांति निवारण हेतु -
धर्मशास्त्रों के अनुसार पितरों का निवास चंद्रमा के उर्ध्वभाग में माना गया है। ये आत्माएं मृत्यु के बाद 1 से लेकर 100 वर्ष तक मृत्यु और पुनर्जन्म की मध्य की स्थिति में रहती हैं। पितृलोक के श्रेष्ठ पितरों को न्यायदात्री समिति का सदस्य माना जाता है।
यमराज की गणना भी पितरों में होती है। काव्यवाडनल, सोम, अर्यमा और यम- ये चार इस जमात के मुख्य गण प्रधान हैं। अर्यमा को पितरों का प्रधान माना गया है और यमराज को न्यायाधीश।
इन चारों के अलावा प्रत्येक वर्ग की ओर से सुनवाई करने वाले हैं, यथा- अग्निष्व, देवताओं के प्रतिनिधि, सोमसद या सोमपा-साध्यों के प्रतिनिधि तथा बहिर्पद-गंधर्व, राक्षस, किन्नर सुपर्ण, सर्प तथा यक्षों के प्रतिनिधि हैं। इन सबसे गठित जो जमात है, वही पितर हैं। यही मृत्यु के बाद न्याय करती है
य
इसलिए पितरों को तृप्त किया जाना आवश्यक है ।
अगर किशी कारण वश आपके पितरों नाराज हो जाये तो यह आपके कार्य स्वरूप बाधा भी डाल सकते है । आम जीवन से लेकर विवाह में भी बाधा डाल सकते है । एवम गृहकलेश , संतान न होना ,
आस्कमिक नुकसान एवम दुर्घटना । एवम मौत भी शामिल होती है ।
इसलिए इनकी शान्ति के उपाय यम नियम से करवाये।
पित्रों के दोष से बचें ।
पितरों के लिए शान्ति एवं दान के लिए संपर्क करें ।।
पितृ दोष का निवारण के लिये सम्पर्क करें ।
जब व्यक्ति के जीवन मे पित्र दोष का काल होता है ।या समय होता है तो अच्छे अच्छे व्यक्ति का दिमाग भृमित हो जाता है। और परिवार में किसी के एक अलग किस्म की बीमारी भी बन जाती है। और ग्रहस्थ होते हुए भी निसंतान जीवन व्यतीत करते है । व्यक्ति के विवाह में बाधा हो जाती है । अकारण जी गृहकलेश होता है । और परिवार में भी मौत होती है । आस्कमिक दुर्घटना हो जाती है । इसलिए पितरों को शांति के लिये पूर्ण उपाय करें ।
पित्रों के दोष का निवारण के लिये आप संपर्क करें।
और अधिक जानकारी समाधान उपाय विधि प्रयोग या ओरिजिनल रत्न की जानकारी या रत्न प्राप्ति के लिए या कुंडली विश्लेषण कुंडली बनवाने के लिए संपर्क करें
जन्म कुंडली देखने और समाधान बताने की
दक्षिणा - 351 मात्र .
पेटियम नम्बर ==9958417249
गूगल पे नम्बर ==== 9958417249
फोन पे =======6306762688
चेतावनी -
सिद्ध गुरु कि देखरेख मे साधना समपन्न करेँ , सिद्ध गुरु से दिक्षा , आज्ञा , सिद्ध यंत्र , सिद्ध माला , सिद्ध सामग्री लेकर हि गुरू के मार्ग दरशन मेँ साधना समपन्न करेँ ।
विशेष -
किसी विशिष्ट समस्या ,तंत्र -मंत्र -किये -कराये -काले जादू -अभिचार ,नकारात्मक ऊर्जा प्रभाव आदि पर परामर्श /समाधान हेतु संपर्क करें
महायोगी राजगुरु जी 《 महायोगी अघोराचार्य 》
तंत्र मंत्र यंत्र ज्योतिष विज्ञान अनुसंधान संस्थान
महाविद्या आश्रम (राजयोग पीठ )फॉउन्डेशन ट्रस्ट
(रजि.)
किसी भी प्रकार की जानकारी के लिए इस नंबर पर फ़ोन करें :
मोबाइल नं. : - 09958417249
व्हाट्सप्प न०;- 09958417249
No comments:
Post a Comment